पाठ 11 दूध का दूध पानी का पानी (कक्षा छठी )

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पाठ 11 दूध का दूध पानी का पानी

प्रश्न 1  नीचे गुरुमुखी और देवनागरी लिपि में दिए गए शब्दों को पढ़ें और हिंदी शब्दों को लिखने का अभ्यास करें
ਕਣ          =   कण                     ਮੁਕੱਦਮੇ     =   मुकद्दमे
ਸ਼ਹਿਰ       =    शहर                   ਬੇਨਤੀ       =   विनती
ਮੁੱਠੀ         =   मुट्ठी                     ਪਿੱਠ          =    पीठ
ਅਸਤਬਲ  =   अस्तबल               ਸੜਕ        =   सड़क
ਘੋੜਾ         =   घोड़ा                    ਬਜ਼ਾਰ       =   बाज़ार

प्रश्न 2  आगे एक ही अर्थ के लिए पंजाबी और हिंदी भाषा में शब्द दिए गए हैं इन्हें ध्यान से पढ़ें और हिंदी शब्दों को लिखें।
ਖੁਸ਼          =    प्रसन्न                   ਪ੍ਰੀਖਿਆ    =   परीक्षा
ਇਨਸਾਫ਼   =   न्याय                     ਭੇਖ          =   भेष
ਖ਼ਤਮ       =    समाप्त                 ਇਰਾਦਾ     =   संकल्प
ਸਜ਼ਾ         =   दंड                      ਰੌਲਾ        =    शोर

प्रश्न 3 नीचे लिखे प्रश्नों के उत्तर एक वाक्य में दे
(क) राजा की परीक्षा किस ने लेनी चाही ?
उत्तर: राजा की परीक्षा पड़ोसी राज्य के राजा ने लेनी चाही।

(ख) राजा को रास्ते में कौन मिला ?
उत्तर: राजा को रास्ते में एक ठग मिला।

(ग) घोड़े का असली मालिक कौन था ?
उत्तर: घोड़े का असली मालिक पड़ोसी राज्य का राजा था।

(घ) किसान को कितने चाबुक लगाने का दंड दिया गया ?
उत्तर: किसान को पचास चाबुक लगाने का दंड दिया गया।

(ङ) इस कहानी में कौन सा पात्र गूँगा और बहरा था?
उत्तर: इस कहानी में नौकर गूंगा और बहरा था।

(च) “सच्चा न्याय” के लिए हिंदी में किस मुहावरे का प्रयोग होता है?
उत्तर-“सच्चा न्याय” के लिए हिंदी में “दूध का दूध, पानी का पानी” मुहावरे का प्रयोग होता है।

(छ) पड़ोसी राजा ने अंत में क्या संकल्प किया?
उत्तर- पड़ोसी राजा ने अंत में बुद्धि से न्याय करने का संकल्प किया।

प्रश्न 4 निम्नलिखित प्रश्नों के उत्तर तीन या चार वाक्यों में दें।
(क) “ठग ने घोड़े को पहचान लिया परंतु घोड़े ने ठग को नहीं पहचाना” इन पंक्तियों का क्या भाव है?
उत्तर: इन पंक्तियों का भाव यह है कि जब ठग को अस्तबल में ले जाया गया तो ठग ने तो घोड़े को पहचान लिया लेकिन वह घोड़ा ठग को देखकर हिनहिनाया नहीं। राजा जानता था कि घोड़ा केवल अपने मालिक को ही पहचान कर हिनहिनाता है अर्थात उसने ठग को नहीं पहचाना क्योंकि वह उसका मालिक नहीं था।

(ख) राजा ने पड़ोसी राजा और ठग के मुकद्दमे का फैसला कैसे किया?
उत्तर: राजा ने घोड़े को अपने पास रख लिया और उसे अस्तबल में बाँध दिया। अगले दिन राजा ने पहले पड़ोसी राजा को अस्तबल में ले जाकर घोड़े को पहचानने को कहा। राजा ने अपना घोड़ा पहचान लिया और राजा को देखते ही घोड़ा भी हिनहिनाने लगा क्योंकि वह अपने मालिक को पहचान गया था। उसके बाद ठग को अस्तबल में ले जाकर घोड़ा पहचानने के लिए कहा गया। ठग ने तो घोड़े को पहचान लिया मगर घोड़ा उसे देख कर चुप रहा। इस तरह राजा समझ गया कि वह घोड़े का मालिक नहीं है। इस तरह राजा ने पड़ोसी राजा के हक में अपना फैसला सुनाया।

प्रश्न 5 अपने पाठ से उपयुक्त शब्द चुनकर निम्नलिखित वाक्य पूरे करें।
क) दोनों को न्याय के लिए राज – दरबार में लाया गया।
ख)  कसाई कहता था कि पैसे मेरे हैं
ग) राजा ने अपना फैसला सुनाया
घ) पड़ोसी राजा ये बातें सुनकर बहुत प्रसन्न हुआ।

6. सही समानार्थी शब्दों पर गोला लगाएं –
राजा           :    आदमी, नरेश, नृप, प्रजा
घोड़ा           :    अश्व, खच्चर, तुरंग, गज
किसान        :    कृषक, काश्तकार, बागवान, खेतीबाड़ी
झगड़ा         :    कलह, ईर्ष्या, क्लेश, मुकाबला
दूध             :    पय, दुग्ध, छाछ, दही
पानी           :    जल, बुलबुला, नीर, गीला
संकल्प        :     इरादा, शंका, झिझक, प्रतिज्ञा
दवात          :    स्याहीदान, मसिपात्र, बोतल, कलम
दंड             :    सज़ा, सबक, सज़ाए मौत, फाँसी

प्रश्न 7 निम्नलिखित शब्दों के वाक्य बनाओ।
शब्द              अर्थ            वाक्य
विनती            प्रार्थना        भगवान सबकी विनती स्वीकार करते हैं ।
मुकद्दमा         दावा           राम ने मोहन पर चोरी का मुकद्दमा किया ।
चाबुक           कोड़ा          राजा ने किसान को पचास चाबुक लगाने का दंड दिया।
अस्तबल        घुड़शाला     अस्तबल में अनेक घोड़े बंधे हुए थे ।

प्रश्न 8  अनेक शब्दों के लिए एक शब्द बनाएं:-
घोड़े पर सवार                        :     घुड़सवार
खेती-बाड़ी करने वाला             :     किसान
घरेलू कामकाज करने वाला       :    नौकर
जहाँ घोड़े बाँधे जाते हैं              :    अस्तबल
ठगी करने वाला                      :     ठग
तेल का व्यापार करने वाला       :     तेली
उचित – अनुचित का विवेक      :     न्याय
जो बोल न सकता हो               :     गूँगा
जो सुन न सकता हो                :     बहरा
पड़ोस में रहने वाला                :     पड़ोसी

(मार्गदर्शक डॉ॰ सुनील बहल, सहायक निदेशक, एस.सी.ई.आर.टी. पंजाब)
लेखन: डॉ.सुमन सचदेवा, हिंदी अध्यापिका, स.ह. स्कूल (लड़के) मंडी हरजीराम, मलोट
संयोजक: दीपक कुमार, हिंदी अघ्यापक, स.मि. स्कूल मानवाला, बठिंडा
संशोधन: राजन, हिंदी मास्टर, स.मि. स्कूल लोहारका कलां, अमृतसर

पाठ 7 सूरज (कविता)
पाठ 8 प्रायश्चित
पाठ 9 रोमाँचक कबड्डी मुकाबला
पाठ 10 चिड़िया का गीत
पाठ 11 दूध का दूध पानी का पानी
पाठ 12 रेणुका झील
पाठ 13 काश! मैं भी

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