(क) विषय बोध
निम्नलिखित प्रश्नों के उत्तर एक या दो पंक्तियों में दीजिए :-
प्रश्न 1 राजेंद्र बाबू को लेखिका ने प्रथम बार कहां देखा था ?
उत्तर: राजेंद्र बाबू को लेखिका ने प्रथम बार पटना के स्टेशन पर एक बेंच पर बैठे देखा था।
प्रश्न राजेन्द्र बाबू अपने स्वभाव और रहन-सहन में किस का प्रतिनिधित्व करते थे ?
उत्तर: राजेंद्र बाबू अपने रहन-सहन और स्वभाव में एक सामान्य भारतीय कृषक का प्रतिनिधित्व करते थे।
प्रश्न 3 राजेंद्र बाबू के निजी सचिव और सहचर कौन थे?
उत्तर राजेंद्र बाबू के निजी सचिव और सहचर भाई चक्रधर जी थे।
प्रश्न 4 राजेंद्र बाबू ने किनकी शिक्षा की व्यवस्था करने के लिए लेखिका से अनुरोध किया ?
उत्तर: राजेंद्र बाबू ने अपनी पन्द्रह सोलह पौत्रियों की शिक्षा की व्यवस्था करने के लिए लेखिका से अनुरोध किया।
प्रश्न 5 लेखिका प्रयाग से कौन सा उपहार लेकर राष्ट्रपति भवन पहुंची थी?
उत्तर लेखिका प्रयाग से बारह सूपों का उपहार लेकर राष्ट्रपति भवन पहुंची थी।
प्रश्न 6. राष्ट्रपति को उपवास की समाप्ति पर क्या खाते देखकर लेखिका को हैरानी हुई ?
उत्तर: राष्ट्रपति को उपवास की समाप्ति पर कुछ उबले हुए आलू खाते देखकर लेखिका को हैरानी हुई।
निम्नलिखित प्रश्नों के उत्तर तीन या चार पंक्तियों में दीजिए :-
प्रश्न 1 राजेंद्र बाबू को देखकर हर किसी को यह क्यों लगता था कि उन्हें पहले कहीं देखा है?
उत्तर: राजेंद्र बाबू का चेहरा और शरीर का गठन एक सामान्य भारतीय कृषक की तरह था। उनकी वेशभूषा भी सामान्य नागरिकों जैसी थी। उनका स्वभाव और रहन-सहन भी सामान्य था। वह देखने में सामान्य व्यक्ति जैसे ही लगते थे। इसलिए सभी को लगता था कि उन्हें पहले कहीं देखा है।
प्रश्न 2 जवाहरलाल नेहरू की अस्त व्यस्तता तथा राजेंद्र बाबू की सारी व्यवस्था किसका पर्याय थी?
उत्तर: पंडित जवाहरलाल नेहरू की अस्तव्यस्तता में भी व्यवस्था होती थी जबकि राजेंद्र बाबू की व्यवस्था में भी अस्त-व्यस्तता रहती थी। इसलिए यह दोनों एक-दूसरे का पर्याय थी अर्थात राजेन्द्र बाबू की व्यवस्था पंडित नेहरू जी की अस्तव्यस्तता तथा नेहरू जी की अस्तव्यस्तता राजेन्द्र बाबू की व्यवस्था का पर्याय थी।
प्रश्न 3 राजेंद्र बाबू की वेशभूषा तथा अस्त व्यस्तता से उनके निजी सचिव और सहचर चक्रधर बाबू का स्मरण लेखिका को क्यों हो आया?
उत्तर: राजेंद्र बाबू की वेशभूषा देखकर लेखिका को उनके निजी सचिव और सहचर चक्रधर बाबू का स्मरण हो आया था क्योंकि चक्रधर बाबू का रहन सहन भी राजेंद्र बाबू के सामान अस्त-व्यस्त था। चक्रधर बाबू तब तक मौजे नहीं बदलते थे जब तक उनके मौजों से पांचों उंगलियां बाहर नहीं निकलने लगती थी। जूतों के तलवों में सुराख होने तक वे जूते भी नही बदलते थे। वे अपने वस्त्र भी बिल्कुल जीर्ण शीर्ण होने तक नहीं बदलते थे। वे राजेंद्र बाबू के पुराने वस्त्रों को पहनकर ही वर्षों उनकी सेवा करते रहे। इसलिए लेखिका को राजेंद्र बाबू की वेशभूषा देखकर चक्रधर बाबू की याद हो आई ।
प्रश्न 4 लेखिका ने राजेंद्र बाबू की पत्नी को सच्चे अर्थों में धरती की पुत्री क्यों कहा है ?
उत्तर: राजेंद्र बाबू की पत्नी अत्यन्त सरल, क्षमाशील , ममतामयी, दयालु व त्यागमयी स्त्री थी । जमींदार परिवार की वधू होकर भी उन्हे अहंकार नहीं था। वह अत्यंत विनम्र स्वभाव की थी । धरती जैसे इन गुणों के कारण लेखिका ने उन्हें धरती की पुत्री कहा है ।
प्रश्न 5 राजेंद्र बाबू की पौत्रियों का छात्रावास में रहन सहन कैसा था ?
उत्तर राजेंद्र बाबू की पौत्रियाँ छात्रावास में बहुत सादगी और संयम से रहती थी। वे सभी खादी के कपड़े पहनती थी। अपने कपड़े धोने व झाड़ू पोंछा करने का काम भी वे स्वयं ही करती थी। वे अपने गुरुजनों की सेवा भी करती थीं। उन्हें जरूरी सामान के लिए सीमित राशि ही दी जाती थी। इस तरह उनका रहन सहन अत्यन्त साधारण था।
प्रश्न 6 राष्ट्रपति भवन में रहते हुए भी राजेंद्र बाबू और उनकी पत्नी में किसी प्रकार का परिवर्तन नहीं हुआ। उदाहरण देकर स्पष्ट करें ।
उत्तर: राष्ट्रपति भवन में रहते हुए भी राजेंद्र बाबू और उसकी पत्नी में किसी प्रकार का परिवर्तन नहीं हुआ था। उनकी वेशभूषा तथा रहन सहन अत्यंत साधारण था। उनकी पत्नी स्वयं भोजन बनाती थी। अपने पति, परिवार तथा परिजनों को खिलाने के बाद ही स्वयं अन्न ग्रहण करती थी। वे उपवास की समाप्ति भी मिठाई आदि से नही बल्कि उबले हुए आलू खाकर ही करते थे। उनका रहन सहन सामान्य व्यक्ति की तरह था।
निम्नलिखित प्रश्नों के उत्तर छह – सात पंक्तियों में दीजिए :-
प्रश्न 1 राजेंद्र बाबू की शारीरिक बनावट, वेशभूषा और स्वभाव का वर्णन करें।
उत्तर: राजेंद्र बाबू का शरीर तथा हाथ- पैर लंबे थे। बाल काले ,घने , छोटे-छोटे और कटे हुए थे । चौड़ा मुख, चौड़ा माथा, घनी भौहें, बड़ी-बड़ी आंखें , कुछ भारी नाक, कुछ मोटे और सुडौल होंठ, गेंहुआं रंग और बड़ी-बड़ी मूछें थी। वे खादी की मोटी धोती – कुर्ता , काला बंद गले का कोट, गांधी टोपी साधारण मौजे और जूते पहनते थे। उनका स्वभाव अत्यंत शांत था। वह सदा सादगी पसंद करते थे। अपने स्वभाव तथा रहन-सहन में में भारतीय किसान के समान थे। उनका खानपान भी अत्यंत साधारण था।
प्रश्न 2 पाठ के आधार पर राजेंद्र बाबू की पत्नी की चारित्रिक विशेषताओं का वर्णन करें ।
उत्तर: राजेंद्र बाबू की पत्नी एक सच्ची भारतीय नारी थी। वह धरती के समान सहनशील क्षमामयी, ममतामयी, दयालु एवं सरल थी । बिहार के जमीदार परिवार की वधु तथा स्वतंत्रता संग्राम के सुप्रसिद्ध सेनानी एवं भारत के प्रथम राष्ट्रपति की पत्नी होने का भी उन्हें अहंकार नहीं था। राष्ट्रपति भवन में भी स्वयं भोजन पकाती थी तथा पति और परिवार जनों को खिलाकर ही स्वयं अन्य ग्रहण करती थी। उनका खानपान और रहन-सहन बहुत साधारण था। उनका स्वभाव धरती मां के समान था।
प्रश्न 3 आशय स्पष्ट कीजिए :-
(क) सत्य में जैसे कुछ घटाना या जोड़ना संभव नहीं रहता वैसे ही सच्चे व्यक्तित्व में भी कुछ जोड़ना घटाना संभव नहीं है।
उत्तर: इन पंक्तियों का भाव यह है कि सत्य हमेशा सत्य ही रहता है। उसमें से कुछ भी घटाया या बढ़ाया नहीं जा सकता । इसी प्रकार एक सच्चे व्यक्ति में भी कुछ भी घटाना या बढ़ाना संभव नहीं है क्योंकि सच्चा व्यक्ति भी सत्य के समान सदैव एक ही रूप में नजर आता है ।
(ख) क्या वह सांचा टूट गया जिसमें ऐसे कठिन कोमल चरित्र ढलते थे।
उत्तर: इन पंक्तियों का भाव यह है कि राजेंद्र बाबू जैसे व्यक्ति आजकल देखने को नहीं मिलते। शायद ईश्वर से ऐसा सांचा टूट गया है जिन में राजेंद्र बाबू जैसे कोमल चरित्र वाले व्यक्तियों का निर्माण होता था। अर्थात आजकल भगवान ने राजेन्द्र बाबू जैसे लोगों का निर्माण करना बंद कर दिया है। आजकल के लोगों में उन जैसे व्यक्तित्व तथा गुणों का अभाव है ।
(ख) भाषा बोध
प्रश्न 1 निम्नलिखित में संधि कीजिए:-
शीत + अवकाश = शीतावकाश
विद्या + अर्थी = विद्यार्थी
मुख + आकृति = मुखाकृति
छात्र +आवास = छात्रावास
प्रति + ईक्षा = प्रतीक्षा
प्रति + अक्ष = प्रत्यक्ष
प्रश्न 2 निम्नलिखित शब्दों में संधि विच्छेद कीजिए :-
राजेंद्र = राजा + इंद्र
वातावरण = वात + आवरण
फलाहार = फल + आहार
व्यतीत = वि + अतीत
मिष्ठान = मिष्ठ + अन्न
प्रत्येक = प्रति + एक
व्यवस्था = वि + अवस्था
एकासन = एक + आसन
प्रश्न 3. निम्नलिखित विग्रह पदों को समस्त पदों में बदलिए :-
राष्ट्र का पति –राष्ट्रपति कर्म में निष्ठा –कर्मनिष्ठा
रसोई के लिए घर –रसोईघर विद्या की पीठ– विद्यापीठ
गंगा में स्नान—गंगास्नान राष्ट्रपति का भवन—राष्ट्रपतिभवन
प्रश्न 4. निम्नलिखित अनेक शब्दों के लिए एक शब्द लिखिए:-
गाँव का रहने वाला – ग्रामीण
नगर का रहने वाला – नागरिक
कृषि कर्म करने वाला – कृषक
छात्रों के रहने का स्थान – छात्रावास
जिसका कोई शत्रु ना हो – अजातशत्रु
जिसे पराजित ना किया जा सके – अपराजेय
अतिथि का स्वागत करने वाला – आतिथेय
डॉ. सुमन सचदेवा, हिंदी अध्यापिका, स.ह. स्कूल (लड़के) मंडी हरजीराम, मलोट