(V) पाठ्य-पुस्तक में से लिंग बदलो, वचन बदलों, विपरीत शब्द, भाववाचक संज्ञा निर्माण, विशेषण निर्माण, अनेक शब्दों के ल्रिए एक शब्द, विराम चिहन से सम्बन्धित उत्तरों वाले प्रश्नों में से पाँच वस्तुनिष्ठ प्रश्न पूछे जाएँगे। प्रत्येक प्रश्न एक अंक का होगा। 5×1=5
(VI) पाठ्य-पुस्तक में से पुरुष, काल, वाच्य, संबंधवोधक, योजक तथा विस्मयादिबोधक की पहचान, ‘र’ के विभिन्न रूप से सम्बन्धित उत्तरों वाले प्रश्नों में से पाँच वस्तुनिष्ठ प्रश्न पूछे जाएँगे। प्रत्येक प्रश्न एक अंक का होंगा। 5×1=5
इन शब्दों के लिंग बदले:-
सम्राट – सम्राज्ञी शेर – शेरनी महाराज – महारानी
नौकर – नौकरानी किशोर – किशोरी राजा – रानी
बूढ़ा – बुढ़िया लड़की – लड़का दादा – दादी
धोबिन – धोबी ऊँट – ऊँटनी छात्रा – छात्रा
अध्यापक – अध्यापिका शिष्य – शिष्या नायक – नायिका
सुत – सुता सेवक – सेविका प्रिय – प्रिया
गायक – गायिका लेखक – लेखिका सदस्य – सदस्या
खलनायक – खलनायिका
वचन बदलें:-
पिंजरा – पिंजरे सभा – सभाएँ मूर्ति – मूर्तियाँ
यह – ये बूँद – बूँदें मंदिर – मंदिरों
खेल – खेलों पंकित – पक्तियाँ वृद्ध – वृद्धों
सीढ़ी – सीढ़ियाँ स्टेशन – स्टेशनों खिड़की – खिड़कियाँ
बंदूक – बंदूकें चिमटा – चिमटे पैसा – पैसे
आलोचना – आलोचनाएँ खिलौना – खिलौने टोली – टोलियाँ
इन वाक्यों में रेखांकित शब्दों के वचन बदल कर वाक्य पुनः लिखें।
(1) यह तिनका है। ये तिनके हैं।
(2) मुझे रस्सा दो। मुझे रस्से दो।
(3) मेरी आँख में दर्द है। मेरी आँखों में दर्द है।
(4) मेरे पास कहानी की पुस्तक है। मेरे पास कहानियों की पुस्तकें हैं।
(5) यह सूती कपड़ा है। ये सूती कपड़े है।
(6) अपनी पेंसिल मुझे दो। अपनी पेंसिलें मुझे दो।
(7) सड़क को लोहे के गेट द्वारा बन्द किया गया है। सड़कों को लोहे के गेटों द्वारा बन्द किया गया है।
(8) चारों ओर कँटीली तार लगी हुई है चारों ओर कँटीली तारें लगी हुई हैं।
(9) वह अपने भावों को नृत्य द्वारा प्रकट करता है। वे अपने भावों को नृत्य द्वारा प्रकट करते हैं।
(10) अपने-अपने देश के झण्डे उतार लेते हैं। अपने-अपने देशों के झण्डे उतार लेते हैं।
विपरीत शब्द
नन्हीं – बड़ी मेहनत – आलस्य विश्वास – अविश्वास
सफल – असफल हार – जीत साहस – कायरता
पुराना – नया अनेक – एक असफल – सफल
धरती – आकाश सुविधा – असुविधा सुर – असुर
सहयोग – असहयोग भिन्न – अभिन्न कमज़ोर – ताकतवर
अमावस – पूर्णिमा पराधीनता – स्वाधीनता अमंगल – मंगल
कठोर – कोमल मुक्ति – बंधन परिचित – अपरिचित
धूप – छाया आगमन – निर्गमन उपलब्ध – अनुपलब्ध
दर्शक – श्रोता अचेत – सचेत
निर्माण – ध्वंस / नाश साधारण – असाधारण टूट – अटूट
समय – असमय थक – अथक सफल – असफल
न्याय – अन्याय संयम – असंयम शुभ – अशुभ
धर्म – अधर्म विश्वास – अविश्वास नाराज़गी – प्रसन्नता
अपनापन – परायापन इन्कार – इकरार साकार – निराकार
बदकिस्मत – खुशकिस्मत सहमति – असहमति विवेक – अविवेक
आगे – पीछे धीरे – तेज़ धूप – छाँव
वरदान -अभिशाप जीवन – मरण स्वीकार – अस्वीकार
प्रेम – घृणा विस्तार – संक्षेप सदाचार – दुराचार
जय – पराजय सहयोग असहयोग भाव – अभाव
असभ्य सभ्य सुविधा – असुविधा अंधेरा – उजाला
मुक्त – बंदी बहुमत – अल्पमत दुर्बल – सबल
भाववाचक संज्ञा बनाएँ:
पूर्ण – पूर्णता पशु – पशुता मित्र – मित्रता
आवश्यक – आवश्यकता मानव – मानवता मनुष्य – मनुष्यत
सभ्य – सभ्यता प्रसन्न – प्रसन्नता
विशेषण बनायें :-
अनुमान – अनुमानित सुरक्षा – सुरक्षित परिचय – परिचित
आशंका – आशंकित स्थापना – स्थापित केंद्र – केंद्रीय
नगर – नागरिक ईमानदारी – ईमानदार समाज – सामाजिक
परेशानी – परेशान प्रकृति – प्राकृतिक प्रसिद्धि – प्रसिद्ध
अंतर – आन्तरिक शांति – शांत शरीर – शारीरिक
सच्चाई – सच्चा प्रथम – प्राथमिक कमज़ोरी – कमजोर
रेखांकन – रेखांकित आकर्षण – आकर्षित उत्साह – उत्साहित
प्रोत्साहन – प्रोत्साहित इतिहास – ऐतिहासिक व्यापार – व्यापारिक
परस्पर – पारस्परिक भारत – भारतीय राष्ट्र – राष्ट्रीय
‘इत‘ और ‘इक‘ शब्दांश लगाकर विशेषण बनायें:
इंसान + इत – इंसानियत रसायन + इक – रासायनिक सुरक्षा + इत – सुरक्षित
समाज + इक – सामाजिक सम्बन्ध + इत – सम्बन्धित भूगोल + इक – भौगोलिक
परिवार + इक – पारिवारिक आमंत्रण + इत – आमंत्रित
अनेक शब्दों के स्थान पर एक शब्द लिखें:-
सूर्य का उदय होना – सूर्योदय देखने वाला – दर्शक
समय का अभाव – समयाभाव जिसकी जानकारी हो चुकी हो – परिचित, ज्ञात
जिसकी जानकारी न हो – अपरिचित, अज्ञात बिना पलक झपकाए – अपलक
पक्षी जगत की जानकारी रखने वाला – पक्षी विशेषज्ञ, कभी न थकने वाला – अथक
देश की रक्षा के लिए कुर्बान होना – कुर्बानी, शहीदी जिसे किसी का डर न हो – निडर
अपने आप पर भरोसा होना – आत्मविश्वास समय से पूर्व – असमय
वायुयान चलाने वाला – वायुयान चालक बचपन की ज़िद्द – बालहठ
घुसपैठ करने वाला – घुसपैठिया जिसे आँखों से दिखाई न देता हो – नेत्रहीन
गले का हार – कंठहार संगीत देने वाला – संगीतकार
अपने पर विश्वास होना – आत्मविश्वास जिसका कोई मोल ना हो – अनमोल
कानों को प्रिय लगने वाला – कर्णप्रिय आविष्कार करने वाला – आविष्कारक
जिसका पार ना हो – अपार किसी का उत्साह बढ़ाना – उत्साह वर्धन
बिना स्वार्थ के – नि:स्वार्थ माँ का बच्चे के प्रति प्यार – वात्सल्य
अच्छा व्यवहार – सद्व्यवहार जिसे गिना न जा सके – अनगिनत
शिष्टता पूर्ण आचरण एवं व्यवहार – शिष्टाचार
विराम चिन्ह लगायें:-
(1) किशोर ने मुस्कुराते हुए कहा वह देखिए महामंत्री – किशोर ने मुस्कुराते हुए कहा, “वह देखिए, महामंत्री।”
(2) शेर को कौन बाहर निकाल सकता है सहसा सम्राट ने – “शेर को कौन बाहर निकाल सकता है?” सहसा सम्राट
गुस्से से कहा ने गुस्से से कहा।
(3) किशोर ने सिर झुका कर कहा महाराज शेर पिंजरे से – किशोर ने सिर झुका कर कहा, “महाराज! शेर पिंजरे से
बाहर आ गया है। बाहर आ गया है।”
(4) बच्चो आप सब कैसे हो – बच्चो! आप सब कैसे हो ?
(5) क्या आपको इसका पूरा नाम पता है। – क्या आपको इसका पूरा नाम पत्ता है?
(6) हाँ सावधानी ज़रूर रखनी होगी – हाँ, सावधानी ज़रूर रखनी होगी ।
(7) ओ शरारती वहाँ इस तरह की फिल्में नहीं होतीं – ओ शरारती! वहाँ इस तरह की फिल्में नहीं होती ।
(8) दीपशिखा पढ़ाई के साथ साथ संगीत खेलकूद ज्ञान – दीपशिखा पढ़ाई के साथ-साथ संगीत, खेलकूद,
विज्ञान में सब से आगे रहती थी ज्ञान-विज्ञान में सब से आगे रहती थी।
निम्नलिखित में से काल को पहचान कर लिखिए: –
(1) दीदी, आओ! आपको कुछ दिखाती हूँ। वर्तमान काल
(2) उन्हें अपलक देख कर मैं फूला नहीं समा रही थी। भूतकाल
(3) यह भी एक दिन उस चिड़िया की तरह उड़ जाएगी। भविष्य काल
(4) अनेक चिड़ियों को फुदकता देखकर हम अपनी चिड़िया पहचान लेते थे। भूतकाल
उपयुक्त वाच्य की पहचान कीजिए:
(क) आपने मुझे कल बिस्कुट दिए थे। (कर्तृवाच्य या कर्मवाच्य या भाववाच्य)
(ख) मैंने दोपहर से कुछ नहीं खाया। (कर्तृवाच्य या कर्मवाच्य या भाववाच्य)
(ग) उससे रहा नहीं गया। (कर्तृवाच्य या कर्मवाच्य या भाववाच्य)
(घ) बच्चे डबल रोटी खा रहे थे। (कर्तृवाच्य या कर्मवाच्य या भाववाच्य)
(ङ) लड़के के द्वारा पैसे गिने जा रहे थे। (कर्तृवाच्य या कर्मवाच्य या भाववाच्य)
उत्तर:- (क) कर्तृवाच्य, (ख) कर्तृवाच्य, (ग) भाववाच्य, (घ) कर्तृवाच्य, (ङ) कर्मवाच्य
निम्नलिखित में से उचित संबंधबोधक शब्द लगाकर वाक्य पूरे करें:
(1) हामिद का बाप अमीना __________ और कौन है। (के साथ, के सिवा) के सिवा
(2) रमज़ान के पूरे तीस रोजों __________ ईद आई है। (के बाद, के साथ) के बाद
(3) हामिद बच्चों __________ जा रहा था। (के सिवा, के साथ) के साथ
(4) हामिद तो मोटर __________ आते-आते बचा। (के नीचे, के बाद) के नीचे
(5) नदी के किनारे एक गाँव था। (सम्बन्धबोधक अव्यय छाँटें) के किनारे
निम्नलिखित वाक्यों में उचित योजक लगाकर वाक्य पूरे करें:-
(1) मोहसिन इतना उदार नहीं है लेकिन वह जानकर भी उसके पास जाता है। (क्योंकि/ लेकिन)
(2) अगर वह चिमटा ले जाकर दादी को दे दे तो कितनी प्रसन्न होगी। (अगर…तो/ यद्यपि… तथापि)
(3) हामिद बड़ा चालाक है इसलिए अपने पैसे बचा कर रखे थे। (इसलिए /परन्तु)
(4) वे बार-बार अपनी जेबों से अपना खज़ाना निकाल कर गिनते हैं और खुश होकर फिर रख लेते हैं। (या /और)
(5) हामिद ने चिमटे को इस तरह कन्धे पर रखा मानो बंदूक हो। (मानो/ताकि)
(6) अमीना हामिद की आवाज़ सुनते ही दौड़ी और उसे गोद में उठाकर प्यार करने लगी। (या /और)
(7) तुम्हारी उँगलियाँ तवे से जल जाती थीं इसलिए मैंने इसे लिया। (क्योंकि /इसलिए)
(8) यदि उन्होंने अनुमति दी तो हम साइंस सिटी देखने कपूरथला जायेंगे। (यद्यपि…..तथापि, यदि……तो)
(9) ऐसा लगता है मानो सब कुछ आपके पास हो रहा है। (ताकि, मानो)
(10) इनके मुँह में हाथ मत डालना नहीं तो दुर्घटना हो सकती है। (नहीं तो, यानि)
(11) यहां 3ड़ी में एक खास तरह का चश्मा पहनकर शो देखा जाता है जिससे कि दूर स्क्रीन पर दिखाए जा रहे चित्र आपके सामने लगते हैं। (और, जिससे कि)
(12) हमने वहाँ बोटिंग की और डायनासोर देखे। (या, और)
(13) मैंने वहाँ देखा तो सब कुछ था परन्तु कुछ याद नहीं आ रहा। (चाहे, परन्तु)
(14) बच्चे माता-पिता की आज्ञा का पालन करते हैं और अपना काम मन लगा कर करते हैं।
उचित विस्मयादिबोधक शब्द लेकर रिक्त स्थान भरें:-
(1) अरे ! तुम पढ़ोगे नहीं? (वाह, अरे)
(2) हाँ ! तुमने ठीक पहचाना। (उफ, हाँ)
(3) उफ ! बड़े दुःख की बात है। (अहा, उफ )
(4) अच्छा ! हम तुम्हारा इन्तज़ार करेंगें। (हाय, अच्छा)
(5) वाह ! बहुत अच्छा किया। (वाह, आह)
(7) वाह ! विधानसभा में बम लेकर जायें।
(8) अरे वाह ! हम मस्तानों का टोला आज़ादी का डोला लायेंगे।
(9) अरे ! तुम्हें जिंदगी अच्छी नहीं लगती।
(10) वाह ! यही ठीक रहेगा।
(11) वाह ! उसने देश का नाम उज्ज्वल कर दिया।
(12) अहा ! देखना, एक दिन हम दीवानों की टोली आज़ादी की दुल्हन को ब्याह लायेगी।
‘र‘ के विभिन्न रूप
सामान्य [ र ] : भारत, राणा, द्वारा , चारों, शहर, तारकोल
रेफ [ ‘ ] : स्पर्श, अर्जुन, दुर्लभ, कार्बन
पदेन [ , ] : अष्टावक्र, ब्रेल, माइक्रोफोन, रेफ्रिजरेटर, प्रदूषण, प्रतिशत
पदेन [ ^ ] : रवीन्द्र, महाराष्ट्र, केन्द्रित, अल्ट्रा, हाइड्रोजन, नाइट्रोजन
निम्नलिखित शब्दों में ‘र’ आधा है या पूरा ?
बार्डर – आधा राष्ट्रीयता – पूरा ब्रिटिश – पूरा
रेंजर्ज़ – आधा रिट्रीट – पूरा ट्रक – पूरा
दर्शक – आधा कार्य – आधा मार्ग – आधा
प्रकट – पूरा